




फेडरल रिजर्व की सख्त मौद्रिक नीति और इजरायल-ईरान संघर्ष से निवेशकों में चिंता, आईटी सेक्टर में सबसे ज्यादा बिकवाली।
नई दिल्ली: अमेरिकी फेडरल रिजर्व (US Fed) द्वारा ब्याज दरों में कोई कटौती न करने का फैसला और वेस्ट एशिया (Middle East) में बढ़ता भू-राजनीतिक तनाव घरेलू शेयर बाजार पर भारी पड़ा है। गुरुवार 19 जून 2025 को हफ्ते के चौथे कारोबारी की शुरुआत गिरावट के साथ हुई। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) का सेंसेक्स 130 अंक से ज्यादा टूटा, वहीं निफ्टी 24,800 के नीचे लुढ़क गया।
बाजार की ओपनिंग रिपोर्ट:
गुरुवार सुबह 9:21 बजे बीएसई सेंसेक्स 225.26 अंक की गिरावट के साथ 81,219.40 के स्तर पर खुला। वहीं, एनएसई निफ्टी 50 56.75 अंक गिरकर 24,755.30 के स्तर पर ट्रेड करता दिखा।
किन सेक्टर्स पर पड़ा असर?
बाजार में गिरावट के बीच बैंकिंग और ऑटो सेक्टर के शेयरों में थोड़ी तेजी जरूर दिखी, लेकिन आईटी सेक्टर में जोरदार बिकवाली दर्ज की गई।
इन शेयरों में दिखी तेजी (Top Gainers)
१. टाइटन: +0.68%
२. टाटा मोटर्स: +0.66%
३. कोटक महिंद्रा बैंक: +0.47%
४. महिंद्रा एंड महिंद्रा: +0.35%
५. बजाज फिनसर्व: +0.23%
इन शेयरों में गिरावट (Top Losers)
१. टेक महिंद्रा: -1.63%
२. एचसीएल टेक: -0.75%
३. इन्फोसिस: -1.01%
४. अडानी पोर्ट्स: -0.58%
५. इंडसइंड बैंक: -0.60%
यूएस फेड के फैसले पर क्या बोले जानकार?
जियोजीत इन्वेस्टमेंट के रिसर्च हेड विनोद नायर का कहना है कि वेस्ट एशिया में जारी तनाव, तेल की कीमतों में अस्थिरता और फेड के रुख से बाजार दबाव में आ गया।
यूएस फेड ने ब्याज दरों को 4.25%-4.5% की मौजूदा सीमा में ही बरकरार रखा है, जो महंगाई और धीमी आर्थिक वृद्धि की चिंताओं के बीच लिया गया फैसला है।
ट्रंप ने किया यूएस फेड के फैसले की आलोचना
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूएस फेड प्रमुख जेरोम पॉवेल को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि ब्याज दरों में कम से कम 2% की कटौती की जानी चाहिए थी। ट्रंप ने पॉवेल को यहां तक कहा कि वह ‘मूर्खतापूर्ण‘ फैसले ले रहे हैं।
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