




झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. इरफान अंसारी और उनके परिवार को बड़ी राहत मिली है। दुमका की एक विशेष अदालत ने 10 साल पुराने उस मामले में फैसला सुनाया जिसमें उन पर और उनके पिता, पूर्व सांसद फुरकान अंसारी, के खिलाफ किरायेदार से मकान खाली कराने को लेकर दबाव बनाने का आरोप लगाया गया था। अदालत ने साक्ष्यों के अभाव और आपसी समझौते के आधार पर तीनों आरोपियों को बाइज्जत बरी कर दिया।
यह मामला करीब 10 साल पुराना है। आरोप था कि झारखंड के दुमका जिले में अंसारी परिवार ने एक किरायेदार पर मकान खाली करने का दबाव डाला था। इसके चलते किरायेदार ने अदालत का दरवाजा खटखटाया था। इस मामले में स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी, उनके पिता फुरकान अंसारी और परिवार के अन्य सदस्यों पर केस दर्ज किया गया था।
दुमका की विशेष अदालत ने गुरुवार को इस मामले की सुनवाई पूरी की। अदालत ने पाया कि आरोप साबित करने के लिए पर्याप्त सबूत उपलब्ध नहीं हैं। इसके अलावा, दोनों पक्षों के बीच आपसी समझौता भी हो चुका है। इस आधार पर अदालत ने सभी आरोपियों को बाइज्जत बरी करने का आदेश दिया।
फैसले के बाद स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने मीडिया से बातचीत में कहा—
“सच्चाई की जीत हुई है। अदालत ने हमें न्याय दिया। यह राजनीतिक द्वेष और व्यक्तिगत आरोपों का मामला था। अब हम जनता की सेवा में और मजबूती से काम करेंगे।”
उनके पिता और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता, पूर्व सांसद फुरकान अंसारी ने भी कहा कि यह फैसला उनके परिवार की इज्जत और साख को और मजबूत करेगा।
इस फैसले को झारखंड की राजनीति में अहम माना जा रहा है। इरफान अंसारी झारखंड में कांग्रेस पार्टी के कद्दावर नेता माने जाते हैं। स्वास्थ्य मंत्री रहते हुए उन्होंने राज्य में कई स्वास्थ्य योजनाओं को आगे बढ़ाया है। 10 साल पुराने मामले से उनका और उनके परिवार का नाम साफ होने के बाद, पार्टी कार्यकर्ताओं और समर्थकों में खुशी और उत्साह है।
फुरकान अंसारी झारखंड और बिहार की राजनीति में लंबे समय तक सक्रिय रहे हैं। इरफान अंसारी ने भी अपने पिता की राजनीतिक विरासत को आगे बढ़ाया है और वर्तमान में झारखंड सरकार में स्वास्थ्य मंत्री हैं। उनका परिवार झारखंड के संथाल परगना क्षेत्र में मजबूत राजनीतिक पकड़ रखता है।
दुमका और आसपास के क्षेत्रों में अंसारी परिवार के समर्थकों ने अदालत के फैसले का स्वागत किया। कई जगहों पर मिठाई बांटी गई और समर्थकों ने इसे न्याय की जीत बताया। सोशल मीडिया पर भी लोगों ने फैसले पर खुशी जताई और अंसारी परिवार को बधाई दी।
झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी और उनके परिवार के लिए यह फैसला बड़ी राहत लेकर आया है। अदालत ने न केवल उन्हें 10 साल पुराने विवाद से मुक्त किया बल्कि यह भी साफ कर दिया कि आरोपों का कोई ठोस आधार नहीं था। अब अंसारी परिवार राजनीतिक और सामाजिक रूप से और मजबूती के साथ जनता के बीच अपनी सक्रिय भूमिका निभा सकेगा।