




भारत सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र के प्रमुख बैंक सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया (Central Bank of India) के लिए नए मैनेजिंग डायरेक्टर और मुख्य कार्यकारी अधिकारी (MD & CEO) के रूप में कल्याण कुमार की नियुक्ति की घोषणा की है। यह नियुक्ति तीन वर्षों की अवधि के लिए की गई है।
बैंकिंग क्षेत्र में यह नियुक्ति काफी महत्व रखती है क्योंकि सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया लंबे समय से परिवर्तन की राह पर अग्रसर है और इसे अब एक अनुभवी और रणनीतिक नेतृत्व की ज़रूरत थी।
कल्याण कुमार, सार्वजनिक बैंकिंग क्षेत्र में एक प्रतिष्ठित और अनुभवी अधिकारी हैं। उन्होंने पंजाब नेशनल बैंक (PNB) में एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर के रूप में अपनी सेवाएं दी हैं और बैंकिंग तथा वित्तीय सेवाओं के विभिन्न क्षेत्रों में 30 वर्षों से अधिक का अनुभव रखते हैं।
उनका कार्यकाल क्रेडिट मैनेजमेंट, रिटेल बैंकिंग, इंटरनल ऑडिट, डिजिटल बैंकिंग और स्ट्रैटेजिक प्लानिंग जैसे महत्वपूर्ण विभागों में रहा है। वह सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में कार्य करते हुए कई जटिल वित्तीय सुधारों को लागू कर चुके हैं।
कल्याण कुमार की नियुक्ति Financial Services Institutions Bureau (FSIB) की सिफारिश के आधार पर की गई है। इसके बाद Appointments Committee of the Cabinet (ACC) द्वारा उनकी नियुक्ति को औपचारिक मंज़ूरी दी गई।
यह पद एम. वी. राव (M. V. Rao) की सेवानिवृत्ति के बाद खाली हुआ था, जिन्हें बैंक को संकट से निकाल कर एक स्थिर स्थिति में लाने का श्रेय दिया जाता है। अब बैंक को अगले स्तर पर ले जाने की ज़िम्मेदारी कल्याण कुमार के कंधों पर होगी।
नए एमडी और सीईओ के रूप में कल्याण कुमार की सबसे बड़ी चुनौती होगी:
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बैंक के डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन को तेज़ करना
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गैर-निष्पादित परिसंपत्तियों (NPA) को नियंत्रित करना
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ग्राहक सेवा में सुधार लाना
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लाभप्रदता और पूंजी पर्याप्तता को मजबूत बनाना
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ग्रामीण और अर्ध-शहरी बैंकिंग में विस्तार करना
सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया ने पिछले कुछ वर्षों में बैड लोन और धीमी ग्रोथ जैसी समस्याओं का सामना किया है। हालांकि, वित्त वर्ष 2024-25 की अंतिम तिमाही में बैंक के प्रदर्शन में सुधार के संकेत मिले थे। कल्याण कुमार से अपेक्षा की जा रही है कि वह इस सुधार को स्थायित्व देंगे।
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सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया भारत के सबसे पुराने सार्वजनिक बैंकों में से एक है।
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इसकी देशभर में 4,500+ शाखाएं और 3,600+ एटीएम हैं।
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बैंक ने हाल ही में डिजिटल बैंकिंग और एआई-आधारित सेवाओं की ओर भी कदम बढ़ाए हैं।
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2025 की पहली छमाही में बैंक का NPA अनुपात 5.3% तक घटा, जो पहले 6.8% था।
बैंक ने वित्तीय समावेशन की दिशा में भी कार्य किया है, लेकिन निजी बैंकों से मुकाबले के लिए यह अभी भी चुनौतियों का सामना कर रहा है।
बैंकिंग उद्योग से जुड़े विशेषज्ञों ने कल्याण कुमार की नियुक्ति का स्वागत किया है:
“कल्याण कुमार का अनुभव बैंकिंग क्षेत्र की जटिलताओं को समझने और समाधान निकालने में मदद करेगा। सेंट्रल बैंक को उनकी रणनीतिक सोच की आवश्यकता थी।”
— राजीव मेहता, बैंकिंग विश्लेषक, मुंबई
“यह नियुक्ति दर्शाती है कि सरकार सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को भी पेशेवर नेतृत्व देना चाहती है।”
— डॉ. अलका श्रीवास्तव, वित्त विशेषज्ञ
कल्याण कुमार के नेतृत्व में सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया से निम्नलिखित पहलों की उम्मीद की जा रही है:
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फिनटेक साझेदारी: डिजिटल भुगतान और स्मार्ट बैंकिंग को बढ़ावा देने के लिए टेक्नोलॉजी स्टार्टअप्स के साथ सहयोग।
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SME और स्टार्टअप लोन योजनाएं: छोटे व्यवसायों और नए उद्यमियों को वित्तीय समर्थन।
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ग्रीन फाइनेंसिंग: पर्यावरण के अनुकूल परियोजनाओं को लोन उपलब्ध कराना।
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साइबर सुरक्षा पर निवेश: डिजिटल धोखाधड़ी से निपटने के लिए साइबर सिक्योरिटी में सुधार।
कल्याण कुमार की नियुक्ति केवल एक औपचारिक बदलाव नहीं है, बल्कि यह सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में नेतृत्व सुधार और नवाचार की दिशा में एक बड़ा कदम है। बैंकिंग क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा लगातार बढ़ रही है और ऐसे में अनुभवी नेतृत्व की आवश्यकता पहले से कहीं अधिक है।