




अरब सागर के ऊपर शुक्रवार को मौसम के पहले समुद्री तूफान का रूप लेने वाली स्थिति ने मौसम विभाग और समुद्री क्षेत्रों में सतर्कता बढ़ा दी है। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने इस तूफान को ‘चक्रवात शक्ति’ नाम दिया है। वर्तमान में यह चक्रवात गुजरात के द्वारका से लगभग 250 किलोमीटर पश्चिम-दक्षिण-पश्चिम में केंद्रित है। मौसम विभाग ने चेताया है कि आने वाले 24 से 48 घंटों में यह तूफान अधिक तीव्र हो सकता है और एक भीषण चक्रवाती तूफान में तब्दील होने की संभावना है।
हालांकि, मौसम विज्ञानियों का अनुमान है कि इस तूफान का सीधे भारतीय भूभाग पर कोई गंभीर प्रभाव नहीं पड़ने वाला है। बावजूद इसके, समुद्री गतिविधियों और मछुआरों के लिए समुद्र में स्थिति खतरे भरी हो सकती है। इसीलिए मछुआरों और समुद्री व्यापार से जुड़े लोगों को अलर्ट किया गया है कि वे समुद्र में न जाएं और आवश्यक सुरक्षा उपाय अपनाएं।
चक्रवात शक्ति की उत्पत्ति के पीछे समुद्री और वायुमंडलीय कारकों का बड़ा हाथ है। अरब सागर में इस समय तापमान और हवा की गति ने तूफान को विकसित करने के लिए अनुकूल परिस्थितियां बनाई हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, समुद्री तूफान तब उत्पन्न होते हैं जब समुद्र की सतह का तापमान सामान्य से अधिक होता है और वायुमंडल में नमी की मात्रा अधिक हो। यह ऊर्जा चक्रवात को तेजी से बढ़ने में मदद करती है।
आईएमडी ने शुक्रवार को अपने बुलेटिन में जानकारी दी कि चक्रवात वर्तमान में अपेक्षाकृत समुद्री क्षेत्रों में केंद्रित है और इसे लेकर समुद्र में गतिविधियों पर नियंत्रण बनाए रखना आवश्यक है। अधिकारियों ने बताया कि समुद्री तूफान के कारण समुद्र में तेज़ हवाएं, ऊंची लहरें और अस्थिर मौसम का सामना करना पड़ सकता है। यही वजह है कि मछुआरों को समुद्र में जाने से रोकने के लिए चेतावनी जारी की गई है।
मौसम विभाग ने आगे कहा कि चक्रवात शक्ति के प्रभाव से समुद्री क्षेत्रों में सप्ताहांत तक समुद्र की स्थिति अस्थिर रहने की संभावना है। ऐसे में जहाजों और मछली पकड़ने वाली नौकाओं को अपने संचालन में सावधानी बरतनी होगी। इसके अलावा, तटीय इलाकों में रहने वाले लोगों को भी लहरों और तेज़ हवाओं को लेकर सतर्क रहने की सलाह दी गई है।
विशेषज्ञों ने यह भी बताया कि चक्रवात के कारण समुद्र की सतह पर दबाव में कमी आएगी, जिससे समुद्री लहरें और अधिक ऊंची हो सकती हैं। यह स्थिति मछुआरों और छोटे समुद्री जहाजों के लिए जोखिम भरी हो सकती है। उन्होंने चेताया कि यदि तूफान और तेज़ हो जाता है तो इसकी प्रभावशीलता और भी बढ़ सकती है।
मौसम विभाग ने लोगों से अपील की है कि वे चक्रवात शक्ति के अपडेट के लिए लगातार मौसम विभाग की आधिकारिक वेबसाइट और स्थानीय समाचार चैनलों पर नजर रखें। अधिकारियों ने यह भी कहा कि समुद्र में जाने वाले सभी व्यवसायिक जहाज और मछली पकड़ने वाले नाविक विशेष सुरक्षा उपाय अपनाएं।
अरब सागर में बने ऐसे मौसमी तूफान हर साल समुद्री गतिविधियों और तटीय सुरक्षा के लिए चुनौतीपूर्ण साबित होते हैं। हालांकि इस बार भारतीय भूभाग पर इसका प्रभाव सीमित रहने की संभावना है, फिर भी समुद्री क्षेत्रों और तटीय इलाकों में सतर्कता जरूरी है। मौसम विज्ञानियों का कहना है कि चक्रवात शक्ति अगले 48 घंटे में और भी सक्रिय हो सकता है, लेकिन यह सीधे तटीय इलाकों में नहीं आएगा।
सरकारी और स्थानीय प्रशासन ने भी तैयारी शुरू कर दी है। तटीय सुरक्षा बल और आपदा प्रबंधन टीमों को अलर्ट किया गया है। तटीय गांवों और समुद्री बंदरगाहों पर सतर्कता बढ़ा दी गई है, ताकि किसी भी आकस्मिक स्थिति का समय पर सामना किया जा सके।
कुल मिलाकर, अरब सागर में बने इस मौसमी तूफान ने समुद्री क्षेत्र और तटीय इलाकों में सतर्कता की लहर दौड़ा दी है। आईएमडी के अलर्ट और मौसम विज्ञानियों की चेतावनी से यह स्पष्ट हो गया है कि समुद्री गतिविधियों में रहने वाले लोगों को सुरक्षा के सभी उपाय अपनाने होंगे। यह चक्रवात शक्ति आने वाले दिन समुद्र में भारी लहरों और तेज़ हवाओं का कारण बन सकता है, इसलिए मछुआरों और समुद्री क्षेत्र में काम करने वालों के लिए यह महत्वपूर्ण समय है।