




महाराष्ट्र के ठाणे जिले में एक बार फिर से बाल सुरक्षा को लेकर चिंता का माहौल बन गया है। एक ऐसा मामला सामने आया है जहां बलात्कार-हत्या के आरोप में पकड़े जाने वाला आरोपी पुलिस की गिरफ्त से भाग गया है। इस दौरान एक और बच्ची के साथ गंभीर घटना की खबर ने पूरे इलाके में सनसनी मचा दी है।
ठाणे पुलिस द्वारा चलाए जा रहे सख्त अभियान के बावजूद आरोपी की गिरफ्तारी नहीं हो सकी है। पुलिस सूत्रों के अनुसार, आरोपी पिछले कुछ महीनों से स्थानीय इलाके में सक्रिय था और कई बार जांच टीमों को चकमा दे चुका था। घटना की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने पूरे जिले में तलाशी अभियान तेज कर दिया है।
जानकारी के अनुसार, यह आरोपी पहले भी एक बच्ची के साथ बलात्कार करने के बाद हत्या के आरोप में नामजद था। लेकिन गिरफ्तारी से बचने के लिए वह लगातार फरार था। स्थानीय लोग और परिवार वाले इस मामले को लेकर बेहद परेशान हैं और न्याय की मांग कर रहे हैं।
इसी बीच, ठाणे जिले के एक अन्य इलाके से खबर आई है कि एक और बच्ची के साथ गंभीर अपराध हुआ है। बच्ची के परिवार ने पुलिस को सूचना दी है कि उसकी बेटी को भी संदिग्ध स्थिति में अगवा किया गया था। फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच में जुटी हुई है और आरोपी की पहचान के लिए प्रयास जारी हैं।
स्थानीय प्रशासन ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए बच्चों की सुरक्षा के लिए अतिरिक्त कदम उठाने की बात कही है। पुलिस ने लोगों से अपील की है कि वे अपनी-अपनी सुरक्षा के लिए सावधानी बरतें और संदिग्ध गतिविधियों की सूचना तुरंत दें।
विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसे मामलों को रोकने के लिए सिर्फ पुलिस कार्रवाई ही नहीं बल्कि समाज को भी जागरूक होना पड़ेगा। बालकों की सुरक्षा के लिए माता-पिता, स्कूल और स्थानीय प्रशासन को मिलकर ठोस कदम उठाने होंगे ताकि बच्चों के साथ होने वाले अपराधों को रोका जा सके।
इस घटना ने एक बार फिर से महाराष्ट्र में बाल सुरक्षा कानूनों की सख्ती की जरूरत को उजागर किया है। सरकार को चाहिए कि वह बच्चों की सुरक्षा के लिए और भी सख्त कानून बनाए और उनके सही क्रियान्वयन को सुनिश्चित करे।
ठाणे जिले की जनता इस मामले को लेकर बेहद आक्रोशित है। वे चाहते हैं कि आरोपी को जल्द से जल्द गिरफ्तार कर कड़ी सजा दी जाए ताकि भविष्य में इस प्रकार की घटनाएं न हों। पुलिस ने भी भरोसा दिलाया है कि वे हर संभव प्रयास करेंगे ताकि इस अपराध को अंजाम देने वाले को शीघ्र पकड़ा जाए।
अंत में, यह मामला समाज के लिए एक चेतावनी है कि बच्चों की सुरक्षा हम सबकी जिम्मेदारी है। हमें सभी को मिलकर बच्चों के प्रति होने वाले अत्याचारों को रोकने के लिए सजग रहना होगा और दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलानी होगी।