




भारतीय महिला स्क्वैश स्टार जोशना चिनप्पा ने जापान ओपन में एक शानदार प्रदर्शन करते हुए मिस्र की तीसरे सीड हाया अली को हराकर अपना 11वां PSA (प्रोफेशनल स्क्वैश एसोसिएशन) टाइटल अपने नाम कर लिया है। 38 मिनट तक चले मुकाबले में जोशना ने 11-5, 11-9, 6-11, 11-8 से जीत हासिल की। यह $15,000 के इस चैलेंजर इवेंट में उनकी लगातार मेहनत और अनुभव का परिणाम रहा।
जोशना का यह शानदार प्रदर्शन न केवल उनकी व्यक्तिगत उपलब्धियों में इजाफा करता है बल्कि भारतीय स्क्वैश के लिए भी गर्व का विषय है। लंबे समय से भारतीय स्क्वैश की अगुआई कर रही जोशना ने इस जीत से यह साबित कर दिया कि वे अभी भी शीर्ष स्तर पर प्रतिस्पर्धा करने में सक्षम हैं।
मैच की शुरुआत जोशना ने जबरदस्त दबाव के साथ की। पहले गेम में उन्होंने अपने आक्रामक खेल से हाया अली को कहीं मैदान पर टिकने नहीं दिया और 11-5 से गेम अपने नाम किया। दूसरे गेम में दोनों खिलाड़ियों के बीच कड़ी टक्कर देखने को मिली, लेकिन जोशना ने अंत तक धैर्य बनाए रखा और 11-9 से बढ़त बनाई।
तीसरे गेम में हाया अली ने वापसी की, तेज गति से खेलते हुए 11-6 से यह गेम जीतकर मैच में वापसी की उम्मीद जगाई। लेकिन चौथे और निर्णायक गेम में जोशना ने संयम और अनुभव दिखाते हुए 11-8 से जीत दर्ज कर मुकाबला 3-1 से अपने नाम कर लिया।
जोशना चिनप्पा पहले भी विश्व स्तर पर भारतीय स्क्वैश का नाम रौशन कर चुकी हैं। पूर्व महिला विश्व रैंकिंग में टॉप 10 में शामिल रही जोशना के लिए यह 11वां PSA टाइटल है, जो उनकी निरंतर मेहनत और समर्पण का प्रमाण है।
उनकी इस जीत ने युवा खिलाड़ियों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत बनकर स्क्वैश के प्रति देश में उत्साह बढ़ाया है। जोशना ने वर्षों से भारत में इस खेल को एक नई पहचान दिलाई है और अब वे युवा खिलाड़ियों के लिए रोल मॉडल बन चुकी हैं।
मिस्र की हाया अली, जो इस टूर्नामेंट की तीसरी सीड थीं, ने भी जबरदस्त खेल दिखाया। युवा खिलाड़ी होने के बावजूद उन्होंने कई मैचों में शानदार प्रदर्शन किया। हालांकि फाइनल में हार गईं, परन्तु उन्होंने जोशना को कड़ी टक्कर दी और अपने करियर के लिए भविष्य में बड़ी सफलता की संभावनाएं जताईं।
जोशना की इस जीत से यह स्पष्ट होता है कि भारत में स्क्वैश का भविष्य उज्जवल है। देश में इस खेल को लेकर बढ़ती रुचि और खेल संस्थानों का सहयोग युवा खिलाड़ियों को प्रेरित कर रहा है। जोशना के सफल करियर से कई युवा स्क्वैश खिलाड़ी प्रेरणा लेकर अपनी कड़ी मेहनत जारी रखेंगे।
स्क्वैश विशेषज्ञों का मानना है कि जोशना की सफलता में उनका अनुशासन, फिटनेस और मानसिक मजबूती अहम भूमिका निभा रही है। उन्होंने खेल के हर पहलू पर मेहनत की है, जिससे वे लंबे समय तक शीर्ष स्तर पर प्रतिस्पर्धा कर पा रही हैं।
विशेषज्ञों ने यह भी कहा कि जोशना की इस जीत से भारतीय महिला स्क्वैश के लिए नए दरवाजे खुलेंगे और देश में इस खेल के लिए बेहतर संसाधन और सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी।
जोशना चिनप्पा की जापान ओपन जीत भारत के लिए गर्व का विषय है। यह जीत न केवल उनके लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है बल्कि भारतीय खेल जगत में महिला खिलाड़ियों की प्रगति का प्रतीक भी है।