




पश्चिम बंगाल विधानसभा में आज एक गंभीर हंगामा हुआ, जब मार्शल्स ने बीजेपी के चीफ व्हिप शंकर घोष को सदन से बाहर निकाला। इस दौरान मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने विपक्षी पार्टी पर तीखा हमला करते हुए ‘वोट चोर’ के नारे लगाए। यह घटनाक्रम विधानसभा की कार्यवाही के दौरान हुआ, जब दोनों पक्षों के विधायक आपस में भिड़ गए।
आज की विधानसभा सत्र के दौरान, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने विपक्षी पार्टी पर आरोप लगाते हुए कहा कि वे लोकतंत्र की हत्या कर रहे हैं। उन्होंने कहा, “ये लोग लोकतंत्र के दुश्मन हैं।” इस पर बीजेपी के विधायकों ने विरोध जताया और सदन में हंगामा शुरू कर दिया। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए स्पीकर बिमान बंदोपाध्याय ने मार्शल्स को बुलाया और शंकर घोष सहित तीन बीजेपी विधायकों को सदन से बाहर निकालने का आदेश दिया।
मार्शल्स द्वारा शंकर घोष को सदन से बाहर निकाले जाने के बाद, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने ‘वोट चोर’ के नारे लगाए। यह नारे विधानसभा परिसर में गूंज उठे और स्थिति और भी तनावपूर्ण हो गई। विपक्षी पार्टी ने इस कार्रवाई की कड़ी निंदा की और इसे लोकतंत्र की हत्या करार दिया।
बीजेपी के नेताओं ने इस घटनाक्रम को लोकतंत्र की हत्या बताते हुए कहा कि सरकार विपक्ष की आवाज को दबाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा, “यह घटना लोकतंत्र के लिए शर्मनाक है।” वहीं, तृणमूल कांग्रेस के नेताओं ने इसे विपक्ष की असहमति का परिणाम बताया और कहा कि विपक्षी पार्टी सदन की कार्यवाही में बाधा डालने की कोशिश कर रही है।
इस घटनाक्रम के बाद, मीडिया में इस पर व्यापक चर्चा हुई। कई मीडिया हाउसेस ने इस घटना को प्रमुखता से कवर किया और इसे पश्चिम बंगाल की राजनीति में एक महत्वपूर्ण मोड़ बताया। सोशल मीडिया पर भी इस घटना के वीडियो वायरल हो गए और लोगों ने विभिन्न प्रतिक्रियाएँ दीं।
पश्चिम बंगाल विधानसभा में आज का हंगामा राज्य की राजनीति में एक नया मोड़ है। यह घटना विपक्ष और सत्ताधारी पार्टी के बीच बढ़ते तनाव को दर्शाती है। अब देखना यह है कि इस घटनाक्रम के बाद विधानसभा की कार्यवाही किस दिशा में आगे बढ़ती है और क्या इससे राज्य की राजनीति में कोई बड़ा बदलाव आता है।