




भारत ने स्विट्ज़रलैंड द्वारा अल्पसंख्यकों के अधिकारों को लेकर की गई टिप्पणी को सख्ती से खारिज कर दिया है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह बयान “चौंकाने वाला, सतही और गलत जानकारी पर आधारित” है।
भारत सरकार ने साफ किया कि देश में सभी धर्मों और समुदायों को समान अधिकार और संवैधानिक सुरक्षा प्राप्त हैं। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि किसी भी बाहरी टिप्पणी का कोई आधार नहीं है और यह भारत की आंतरिक नीतियों के बारे में गलत धारणा फैलाने जैसा है।
अधिकारियों ने यह भी जोड़ा कि भारत एक लोकतांत्रिक और बहुलतावादी समाज है, जहां अल्पसंख्यक समुदायों ने शिक्षा, राजनीति, व्यापार और सांस्कृतिक क्षेत्रों में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
विशेषज्ञों का मानना है कि भारत की यह प्रतिक्रिया न केवल स्विट्ज़रलैंड बल्कि उन सभी देशों को संदेश है, जो घरेलू नीतियों पर अनुचित और अधूरी जानकारी के आधार पर बयानबाज़ी करते हैं।