




असम के जाने-माने गायक और संगीतकार ज़ुबिन गर्ग की रहस्यमयी मृत्यु के मामले में एक नया मोड़ आ गया है। पुलिस दस्तावेजों के अनुसार, ज़ुबिन के साथ सिंगापुर यात्रा पर गए उनके बैंडमेट शेखर ज्योति गोस्वामी ने दावा किया है कि ज़ुबिन गर्ग की मौत दुर्घटना नहीं बल्कि पूर्व नियोजित हत्या थी।
गिरफ्तारी के बाद दिए गए अपने बयान में शेखर गोस्वामी ने यह सनसनीखेज आरोप लगाया कि ज़ुबिन को सिंगापुर में ज़हर दिया गया, जिससे उनकी तबीयत बिगड़ी और बाद में मौत हो गई।
उनके इस बयान से ना सिर्फ पुलिस जांच की दिशा बदल गई है, बल्कि सोशल मीडिया और प्रशंसकों में आक्रोश भी फैल गया है।
ज़ुबिन गर्ग 28 सितंबर 2025 को सिंगापुर में नॉर्थ ईस्ट इंडिया फेस्टिवल (NEIF) के एक कार्यक्रम में प्रस्तुति देने के लिए गए थे। उसी दौरान यॉट पार्टी के दौरान उन्हें बेहोशी और सांस लेने में दिक्कत की शिकायत हुई। शुरुआत में बताया गया कि वह पानी में गिर गए और डूबने से उनकी मृत्यु हो गई।
लेकिन अब शेखर गोस्वामी के आरोपों के अनुसार:
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ज़ुबिन ने अंतिम क्षणों में “जाबो दे… जाबो दे…” कहते हुए मदद मांगी।
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उनके मुंह से झाग निकल रही थी और वह बुरी तरह तड़प रहे थे।
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कार्यक्रम आयोजक श्यामकनु महंता और मैनेजर सिद्धार्थ शर्मा ने मेडिकल सहायता देने में जानबूझकर देर की।
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ज़हर देने की योजना पहले से बनी हुई थी।
इस मामले में असम पुलिस ने हत्या और आपराधिक षड्यंत्र के आरोपों के तहत कुल चार लोगों को गिरफ्तार किया है:
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शेखर ज्योति गोस्वामी – बैंडमेट (अब अभियुक्त और गवाह दोनों)
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सिद्धार्थ शर्मा – ज़ुबिन गर्ग के मैनेजर
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श्यामकनु महंता – इवेंट ऑर्गनाइज़र
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अमृत प्रभा महंता – गायिका और साथी कलाकार
इन सभी पर भारतीय दंड संहिता की धारा 302 (हत्या), 120B (षड्यंत्र), और 201 (साक्ष्य छिपाने) के तहत केस दर्ज किया गया है।
घटना की गंभीरता को देखते हुए असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने एक न्यायिक जांच आयोग के गठन की घोषणा की है। इस आयोग की अध्यक्षता गुवाहाटी उच्च न्यायालय के एक सेवानिवृत्त न्यायाधीश करेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा:
“ज़ुबिन गर्ग असम का सांस्कृतिक गौरव थे। उनकी मौत की सच्चाई सामने लाना राज्य सरकार की नैतिक जिम्मेदारी है।”
सिंगापुर पुलिस ने भारतीय अधिकारियों को ज़ुबिन गर्ग की प्राथमिक ऑटोप्सी रिपोर्ट सौंप दी है, जिसमें डूबने को संभावित कारण बताया गया है। लेकिन अब भारतीय जांच एजेंसियां:
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विसरा परीक्षण (toxicology report)
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वीडियो फुटेज
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फोन रिकॉर्ड
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वित्तीय लेनदेन और यात्रा डेटा की जांच कर रही हैं।
सूत्रों के मुताबिक, दिल्ली की केंद्रीय फॉरेंसिक लैब (CFL) में ज़हर की जांच करवाई जा रही है और रिपोर्ट एक सप्ताह के भीतर मिलने की उम्मीद है।
ज़ुबिन गर्ग के प्रशंसकों ने सोशल मीडिया पर #JusticeForZubeen के साथ न्याय की मांग उठाई है। कई नामी हस्तियों ने भी मामले की निष्पक्ष जांच और सख्त कार्रवाई की मांग की है।
लोकप्रिय गायक पपोन ने ट्वीट किया:
“ज़ुबिन दा की मौत से हम सब टूट गए हैं। यदि यह हत्या है, तो दोषियों को बख्शा नहीं जाना चाहिए।”
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ज़ुबिन गर्ग की मौत 28 सितंबर को सिंगापुर में यॉट पर हुई।
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शुरुआत में इसे ‘दुर्घटनावश डूबना’ कहा गया।
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बैंडमेट ने ज़हर देने का आरोप लगाया।
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चार लोगों की गिरफ्तारी, न्यायिक जांच शुरू।
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फॉरेंसिक रिपोर्ट और मेडिकल एविडेंस का इंतजार।
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राज्यभर में उबाल और #JusticeForZubeen ट्रेंड कर रहा है।
ज़ुबिन गर्ग की असमय मौत अब एक गंभीर आपराधिक जांच का विषय बन चुकी है। जिस तरह उनके करीबी बैंडमेट ने ज़हर देने का आरोप लगाया है, वह न केवल दुखद है, बल्कि डरावना भी।