इस खबर को सुनने के लिये प्ले बटन को दबाएं।

हर महिला के मन में कुछ अलग करने का सपना होता है। घर और परिवार की जिम्मेदारियां निभाते हुए भी अगर किसी के भीतर कुछ कर दिखाने की आग हो, तो कोई भी मंज़िल असंभव नहीं रहती। ऐसी ही प्रेरक कहानी है तनुजा मैडम की, जिन्होंने अपने संघर्ष और आत्मविश्वास के बल पर खुद को और सैकड़ों महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाया।
तनुजा मैडम को शुरू से ही ब्युटी और कॉस्मेटोलॉजी के क्षेत्र में गहरी रुचि थी। दसवीं से बारहवीं के बीच उन्होंने कई अलग-अलग क्षेत्रों में प्रयास किया, लेकिन सफलता उम्मीद के मुताबिक नहीं मिली। मन में शंका थी कि क्या यह क्षेत्र वास्तव में करियर के लिए सही है, क्या इसकी फीस बहुत ज्यादा होगी। लेकिन उन्होंने निश्चय किया कि अब पीछे नहीं हटना है। इसी दृढ़ निश्चय के साथ उन्होंने एक साल का सरकारी हेयर एंड स्किन केयर कोर्स पूरा किया और 93.73 प्रतिशत अंकों के साथ पहला स्थान प्राप्त किया। यह उपलब्धि उनके आत्मविश्वास की नई शुरुआत थी।
तनुजा मैडम ने केवल इसी कोर्स पर रुकना उचित नहीं समझा। उन्होंने आगे नॉन सर्जिकल कॉस्मेटोलॉजी, स्किन एस्थेटिक, परमानेंट मेकअप, मेकअप आर्टिस्ट्री, हेयर ड्रेसिंग, हेयर स्टाइलिंग और मेहंदी आर्ट जैसे कई एडवांस कोर्स पूरे किए। उन्हें महसूस हुआ कि सौंदर्य केवल बाहरी नहीं होता, यह आत्मविश्वास और आत्मसम्मान की भावना को भी बढ़ाता है। वे हमेशा कहती हैं — “हुनर है तो कदर है।”
अपने कौशल और ज्ञान के बल पर उन्होंने शिरोळ स्थित गवर्नमेंट आईटीआई और स्किल इंडिया शाखा में शिक्षिका के रूप में काम करना शुरू किया। वहीं से उन्हें यह एहसास हुआ कि अगर ग्रामीण और आर्थिक रूप से कमजोर महिलाओं को सही दिशा और प्रशिक्षण मिले, तो वे भी आत्मनिर्भर बन सकती हैं। इसी सोच के साथ तनुजा मैडम ने ठान लिया कि वे खुद एक ऐसा मंच तैयार करेंगी, जो महिलाओं को न केवल शिक्षा बल्कि आत्मविश्वास भी देगा। उन्होंने कहा — “भले पूंजी छोटी हो, लेकिन सोच बड़ी होनी चाहिए।”
इसी विश्वास के साथ एक छोटे से कमरे में “तनुजा मेकओवर एंड कॉस्मेटोलॉजी अकैडमी” की नींव रखी गई। इस अकैडमी में महिलाओं को ब्युटी, स्किन केयर, मेकअप, हेयर स्टाइलिंग जैसे कोर्स के साथ-साथ हर्बल फेस पैक, हर्बल मेहंदी, ज्वेलरी डिजाइनिंग और सिल्क थ्रेड आर्ट जैसे अन्य कौशल भी सिखाए जाते हैं, ताकि महिलाएं छोटे बजट में खुद का व्यवसाय शुरू कर सकें। तनुजा मैडम का उद्देश्य केवल प्रशिक्षण देना नहीं था, बल्कि महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाना और उनके भीतर छिपी उद्यमी भावना को जगाना था।
अकैडमी में सभी कोर्स बेहद किफायती शुल्क में उपलब्ध हैं, जिससे आर्थिक रूप से कमजोर महिलाएं भी इन्हें आसानी से कर सकती हैं। प्रशिक्षण के बाद सर्टिफिकेट प्रदान किए जाते हैं, जिससे महिलाओं को रोजगार और व्यवसाय दोनों के अवसर मिलते हैं। आज इस अकैडमी से प्रशिक्षित सैकड़ों महिलाएं न केवल अपने पैरों पर खड़ी हैं, बल्कि कईयों ने अपने खुद के पार्लर और सलून भी शुरू किए हैं।
तनुजा मैडम कहती हैं कि शुरुआत में सबसे बड़ी चुनौती समय का प्रबंधन थी। घर की जिम्मेदारियां, बच्चों की पढ़ाई और व्यवसाय — इन सबके बीच संतुलन बनाना कठिन था, लेकिन जब मन में कुछ कर गुजरने की सच्ची चाह हो, तो हर मुश्किल आसान हो जाती है। उनके अनुसार, जब आप सच्चे मन से मेहनत करते हैं, तो पूरी दुनिया आपकी राह बन जाती है।
आज तनुजा मैडम गर्व से कह सकती हैं कि वे एक सफल उद्यमी हैं। उनका यह सफर केवल उनकी मेहनत का नहीं, बल्कि उनके परिवार के सहयोग और विश्वास का परिणाम भी है। भविष्य में उनका सपना है कि वे और अधिक महिलाओं को प्रशिक्षण और रोजगार के अवसर प्रदान करें, ताकि वे आत्मनिर्भर बन सकें और समाज में अपनी पहचान बना सकें।
तनुजा मैडम का संदेश हर महिला के लिए प्रेरणास्रोत है — “संधि की प्रतीक्षा मत करो, खुद अवसर बनाओ। भले पूंजी छोटी हो, लेकिन दृष्टि बड़ी रखो। हर गृहिणी में एक उद्यमी छिपी होती है, बस उसे सही प्रशिक्षण और आत्मविश्वास की जरूरत होती है।”
उनकी कहानी इस बात का प्रमाण है कि अगर इरादे मजबूत हों, तो छोटी सी शुरुआत भी बड़ी सफलता में बदल सकती है। तनुजा मेकओवर एंड कॉस्मेटोलॉजी अकैडमी आज सिर्फ एक प्रशिक्षण संस्था नहीं, बल्कि महिलाओं के सशक्तिकरण की दिशा में एक आंदोलन बन चुकी है। तनुजा मैडम की यात्रा यह सिखाती है कि जब कोई महिला अपने सपनों पर विश्वास करती है, तो वह न केवल अपना बल्कि समाज का भविष्य भी बदल देती है।








