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    रीसील.इन प्रस्तुत कर रहा है ‘यशोस्तुते सीज़न 3’ – जहाँ प्रेरणा की रोशनी से जगमगाएगी श्री. हृषीकेश सावंत की कहानी!

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    हर सफलता के पीछे एक कहानी होती है — मेहनत, समर्पण और उस विश्वास की, जिसने असंभव को संभव बनाया।
    ‘यशोस्तुते सीज़न ३’ ऐसे ही असली नायकों की प्रेरक यात्राओं को दर्शाने वाला मंच है, जहाँ भारत के उद्यम, विज्ञान और नवाचार की कहानियाँ जीवंत होती हैं।

    इस सीज़न की प्रेरणादायी रोशनी हैं —
    श्री हृषीकेश बालकृष्ण सावंत, जो लेज़र टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में अग्रणी विशेषज्ञ और नवाचार के प्रतीक बन चुके हैं।
    उनकी कहानी केवल विज्ञान की नहीं, बल्कि उस दृष्टिकोण की भी है जिसने आधुनिक भारत में तकनीकी आत्मनिर्भरता की दिशा तय की।

    हृषीकेश सावंत की यात्रा एक विद्यार्थी से नवप्रवर्तक बनने तक का अद्भुत सफर है।
    तकनीकी शिक्षा के दौरान ही उन्होंने यह महसूस किया कि भारत में लेज़र तकनीक का उपयोग औद्योगिक क्षेत्र में सीमित है,
    जबकि इसका दायरा बहुत व्यापक हो सकता है — चिकित्सा, उत्पादन, रक्षा, ऑटोमोबाइल, और शिक्षा जैसे क्षेत्रों में।

    यहीं से उनके मन में नवाचार का बीज अंकुरित हुआ।
    उन्होंने अध्ययन, अनुसंधान और प्रायोगिक प्रयासों से लेज़र तकनीक को भारतीय उद्योगों के अनुकूल बनाने का संकल्प लिया।

    हृषीकेश सावंत ने अपनी कंपनी के माध्यम से लेज़र तकनीक में कई उल्लेखनीय प्रगति की।
    उनका उद्देश्य था — “Make in India” के सिद्धांत के तहत विश्वस्तरीय लेज़र मशीनें भारत में ही विकसित करना।

    उन्होंने ऐसे लेज़र उपकरण और सिस्टम विकसित किए जो न केवल सटीकता में श्रेष्ठ थे,
    बल्कि ऊर्जा दक्षता और उत्पादन क्षमता के मानकों पर भी वैश्विक स्तर से प्रतिस्पर्धा करते हैं।

    आज उनके द्वारा विकसित तकनीकें कई उद्योगों में उपयोग की जा रही हैं,
    जो भारत की औद्योगिक प्रगति को एक नई दिशा दे रही हैं।

    हर नवाचार के पीछे एक चुनौती होती है।
    श्री सावंत ने भी प्रारंभिक दौर में कई कठिनाइयों का सामना किया —
    वित्तीय सीमाएँ, तकनीकी संसाधनों की कमी, और स्थानीय बाजार में नई तकनीक के प्रति झिझक।

    लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी।
    उन्होंने अपनी दृष्टि को कभी धुंधला नहीं होने दिया।
    धीरे-धीरे उनके प्रयासों को सफलता मिली और आज उनका नाम लेज़र टेक्नोलॉजी क्षेत्र में अग्रणी उद्यमियों में लिया जाता है।

    उनकी सोच थी — तकनीक केवल उद्योग के लिए नहीं, बल्कि समाज के विकास का साधन भी होनी चाहिए।
    इसी सिद्धांत पर उन्होंने अनुसंधान, प्रशिक्षण और कौशल विकास पर विशेष ध्यान दिया।

    उनके अथक परिश्रम और नवाचार को अनेक प्रतिष्ठित संस्थानों द्वारा सराहा गया है।
    श्री हृषीकेश सावंत को तकनीकी नवाचार, उद्यमिता और सामाजिक योगदान के लिए कई पुरस्कार प्राप्त हुए हैं,
    जिनमें प्रमुख है — “महाराष्ट्र उद्योजकता पुरस्कार २०२५” (Reseal Awards 2025)

    यह सम्मान न केवल उनकी व्यक्तिगत उपलब्धि है, बल्कि भारत के उस युवा वर्ग का प्रतिनिधित्व करता है
    जो स्वदेशी तकनीक और अनुसंधान को वैश्विक स्तर पर स्थापित करने का सपना देखता है।

    व्यवसाय से परे, श्री सावंत समाज के लिए भी निरंतर कार्यरत हैं।
    वे युवाओं को तकनीकी शिक्षा, स्टार्टअप मार्गदर्शन और कौशल प्रशिक्षण के लिए प्रेरित करते हैं।
    उनका मानना है कि भारत की वास्तविक ताकत उसके नवोन्मेषी युवाओं में निहित है।

    उनकी पहल के तहत कई कार्यशालाएँ और सेमिनार आयोजित किए गए हैं,
    जिनमें विद्यार्थियों और युवा उद्यमियों को नई तकनीकों से जोड़ने का अवसर मिलता है।

    उनकी सोच सरल है —
    “अगर ज्ञान साझा किया जाए, तो वह समाज की सामूहिक प्रगति बन जाता है।”

    रीसील.इन का ‘यशोस्तुते सीज़न ३’ इन जैसे अद्भुत व्यक्तित्वों की प्रेरणादायी यात्राएँ लेकर आया है।
    श्री हृषीकेश सावंत की कहानी इसमें विशेष स्थान रखती है —
    क्योंकि यह केवल सफलता की नहीं, बल्कि उस दृष्टि की कहानी है जिसने तकनीक को जनकल्याण से जोड़ा।

    यह शो दर्शकों को यह समझाता है कि नवाचार केवल प्रयोगशाला की दीवारों में नहीं,
    बल्कि उस सोच में जन्म लेता है जो देश के भविष्य को आकार देती है।

    इस प्रेरक सीरीज़ का प्रसारण NDTV मराठी पर होगा,
    साथ ही इसे Reseal Awards YouTube चैनल और 🌐 www.yashostute.com पर भी देखा जा सकेगा।

    श्री हृषीकेश सावंत की कहानी यह संदेश देती है कि
    जब ज्ञान, दृष्टिकोण और परिश्रम एक साथ चलते हैं,
    तो सफलता केवल एक उपलब्धि नहीं रहती — वह एक प्रेरणा बन जाती है।

    उनकी यात्रा यह सिद्ध करती है कि भारत में नवाचार की रोशनी अब किसी सीमा की मोहताज नहीं।
    यह नई पीढ़ी के उन सपनों का प्रतीक है जो विज्ञान को सेवा में बदलना जानते हैं।

    ‘यशोस्तुते सीज़न 3’ में उनकी कहानी हर दर्शक को यह अहसास कराएगी —
    कि हर रोशनी किसी न किसी मेहनत की गवाही होती है।

    🌟 रीसील.इन प्रस्तुत कर रहा है ‘यशोस्तुते सीज़न ३’ — जहाँ प्रेरणा की रोशनी से जगमगाएगी श्री. हृषीकेश सावंत की कहानी!

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